अजब ग़जब

5 साल की लड़की हर शाम घर से हो जाती थी गायब, पिता ने पीछा किया तो सामने आयी सच्चाई

कहां जाता है कि बच्चों के अंदर भगवान होते हैं। इसीलिए बच्चे इतने दयालु और मासूम होते हैं। बच्चों के अंदर इतनी ममता और इंसानियत होती हैं कि वे अपने दम पर सबकी मदद करने की कोशिश करते रहते हैं। ऐसा ही कुछ एक 5 वर्षीय लड़की के साथ भी हुआ। बता दे कि यह लड़की हर शाम खाने के बाद घर से गायब हो जाती थी।

जिसके बारे में इसके माता-पिता को कुछ पता नहीं रहता था। करीब तीन-चार दिन तक जब लड़की के पिता ने अपनी बेटी को कमरे में नहीं पाया तो उन्होंने अपनी बच्ची का पीछा करने के बारे में सोचा। बच्ची हर शाम 1 घंटे के लिए घर से गायब हो जाती थी। जब उसके पिता टॉम ने उसका पीछा किया तो उन्हें ऐसा सच पता चला जिसे जानकर उनकी आंखों में आंसू आ गए। टॉम ने इसके बाद पुलिस को इन्फॉर्म किया और मीडिया चैनल से बात करते हुए कहा कि, उनकी छोटी सी बेटी एमा सबसे छुपकर ना जाने कैसे यह सब कर पा रही थी।

बच्ची को अकेले ही आने का मिला था नोट

जब टॉम और उनकी पत्नी ने नोटिस किया कि उनकी बेटी हर रोज एक समय पर गायब हो जाती हैं तो उन्होंने इस बारे मे बेटी एमा से सवाल जवाब किए। हालांकि बच्ची ने उन्हें इसके बारे में कुछ भी नहीं बताया। लगातार पांचवें दिन जब एमा अपने घर से चली गई तो टॉम ने उसके कमरे की तलाशी ली।  टॉम को एमा के तकिए पर चिपका हुआ सफेद कागज की पर्ची में लिखा नोट मिला।

नोट पर लिखा था कि, शाम के ठीक 6:30 बजे अपने मैदान के पीछे वाले घर में आ जाना। और सुनिश्चित करना कि तुम अकेली ही हो!” यह पढ़कर टॉम हैरान रह गया। उसे समझ नहीं आ रहा था कि उसकी बच्ची को इस तरह अकेले रोज कौन बुला रहा है। इस वजह से टॉम ने एमा का पीछा करने का सोचा।

घर के पीछे जंगलों में हो गई गायब

छठवें दिन सामने 6:00 बजे से ही अपनी बेटी पर नजर रखना शुरू कर दी। उसने देखा कि एमा घर से निकलकर जंगलों में कहीं गायब हो गई। हालांकि नोट में जिस घर की बात की गई थी उस घर के बारे में टॉम जानता था। इसीलिए एमा को ढूंढने में उसे कोई मुश्किल नहीं हुई। वह घर टॉम के दादा दादी का था जहां पर करीब 50 साल से कोई नहीं रहता था। वहां पहुंचकर टॉम ने देखा कि बालकनी में कोई एमा का इंतजार कर रहा है।

जैसे ही वह पहुंचती है तो उसे अंदर बुलाकर दरवाजा बंद कर दिया जाता है। टॉम घर के पिछले दरवाजे से अंदर जाता है। उसे वहां किसी महिला की आवाज सुनाई देती है। टॉम देखता है कि थोड़ी ही देर में एमा वहां से चली जाती है। एमा के जाने के बाद टॉम उस कमरे में जाता है जहां पर वह महिला थी। वहां का नजारा देखकर टॉम हैरान रह जाता है।

कमरे में 20 से ज्यादा कुत्ते थे मौजूद

टॉम जब कमरे के अंदर देखता है तो पाता है कि कमरे के अंदर 20 से ज्यादा कुत्ते मौजूद थे और उनके साथ एक बूढ़ी औरत बैठी हुई थी। बार बार पूछने पर बूढ़ी औरत ने रोते हुए टॉम को पूरी कहानी सुनाई। औरत ने बताया कि वह एम्मा के स्कूल के पास के वृद्धाश्रम में रहती थी।

लेकिन वह वहां नहीं रह पा रही थी इसलिए उन्होंने वहां से भागने का फैसला लिया। उसे सब से छुप कर रहना था नहीं तो वृद्धाश्रम वाले उसे वापस पकड़ कर ले जाते। 1 साल से वह गलियों में उन्हीं आवारा कुत्तों के साथ रह रही थी। फिर उन्हें एमा मिली। बूढ़ी औरत ने टॉम को बताया कि उनकी छोटी सी बेटी एमा ने ही महिला को इस घर के बारे में बताया और यहां रहने की इजाजत दी।

अपने हिस्से का भी खिला देती थी खाना

बूढ़ी औरत ने टॉम को बताया कि उन्हें कुछ समय से खाने की कमी हो रही थी। एमा अपने हिस्से से खाना बचा कर हर शाम यहां ले आती। लेकिन इससे भी उनका और सभी कुत्तों का गुजारा हो पाना मुश्किल है। यह सब सुनकर टॉम की आंखों में आंसू आ गए उन्होंने घर जाकर अपनी बेटी को गले लगाया।

इसके बाद टॉम और उनकी पत्नी ने बूढ़ी औरत और सभी कुत्तों की मदद करने का फैसला लिया। उन्होंने बूढ़ी औरत को अपना घर भी रहने के लिए दे दिया। साथ ही हर रोज उनके और सभी कुत्तों के खाने का इंतजाम करने लगे। टॉम की फैमिली 40 कुत्तों का ख्याल रख रही हैं। वहीं 15 कुत्तों को लोगों ने गोद ले लिया है। यह सभी छोटी सी बच्ची एमा की वजह से मुमकिन हो पाया है।

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