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26/11 के शहीदों को याद कर भावुक हुए टाटा, कहा- हमें याद है, उस विनाश को भुलाया नहीं जा सकता

हमारा देश आज 26/11 आतंकी हमले में शहीद हुए जांबाज जवानों और लोगों को याद कर रहा है. आज ही के दिन साल 2008 में मुंबई के ताज़ होटल को आतंकियों ने अपना निशाना बनाया था. साथ ही पाक के आतंकियों ने ‘मायानगरी’ मुंबई में और भी कई स्थानों पर गोलियां बरसाई थी.

सोशल मीडिया पर लगातार इस हमले के शिकार हुए लोगों को श्रद्धांजलि दी जा रही है. इसी कड़ी में देश की जानी-मानी हस्ती में शुमार रतन टाटा ने भी इस हमले में अपना बलिदान देने वालों को श्रद्धांजलि अर्पित की है.

आतंकी हमले में शिकार हुए जांबाजों को देश के जाने-माने कारोबारी रतन टाटा ने सोशल मीडिया के माध्यम से याद किया है. उन्होंने अपने आधिकारिक ट्विटर एकाउंट पर इसे लेकर एक पोस्ट साझा की है. होटल ताज़ की एक तस्वीर उन्हों साझा की है. इस पर लिखा हुआ है कि, ”हमें याद है”.

आगे रतन टाटा ने पोस्ट में लिखा है कि, “आज से 12 साल पहले जो विनाश हुआ, उसे कभी भूलाया नहीं जा सकेगी. लेकिन जो ज्‍यादा यादगार है, वो ये कि उस दिन आतंकवाद और विनाश को खत्‍म करने के लिए जिस तरह मुंबई के लोग सभी मतभेदों को भुलाकर एक साथ आए. हमने जिनको खोया, जिन्‍होंने दुश्‍मन पर जीत पाने के लिए कुर्बानियां दीं, आज हम जरूर उनका शोक मना सकते हैं. लेकिन हमें उस एकता, दयालुता के उन कृत्‍यों और संवदेनशीलता की भी सराहना करनी होगी जो हमें बरकरार रखनी चाहिए और उम्‍मीद है कि आने वालों में यह और बढ़ेगी ही.”

आपको जानकारी के लिए बता दें कि 26 नवंबर 2008 को हुए इस आतंकी हमले को देश 26/11 या 26/11 आतंकी हमले के नाम से जानता है. होटल ताज़ में आतंकियों ने लोगों को ढूंढ-ढूंढ कर मारा था. जवाब में आतंकियों का भी पुलिस के जवानों ने ख़ात्मा कर दिया था. 10 में से बस पाकिस्तान का एक आतंकी अजमल आमिर कसाब ही ज़िंदा बच पाया था.

बताया जाता है कि पाक के आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के कुल 10 आतंकी समुद्र के रास्ते मुंबई पहुंचे थे. आतंकी गोलीबारी में कुल 18 सुरक्षार्मी शहीद हो गए थे. सुरक्षाकर्मियों सहित कुल 166 लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा था. एनएसजी और अन्य सुरक्षाबलों ने जवाबी कार्रवाई में 9 आतंकी को मौत की नींद सुला दी थी. एक मात्र ज़िंदा बचे आतंकी कसाब को 21 नवंबर 2012 को फांसी के फंदे पर लटका दिया गया था.

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