धार्मिक

इस दिन से शुरू हो रही है गुप्त नवरात्रि, मनोवांछित फल पाने के लिए इस मंत्र का करें जाप

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार माघ माह बहुत ही पवित्र माना जाता है। इस पवित्र महीने में पूजा-पाठ और दान पुण्य करने से देवी-देवता प्रसन्न होते हैं और सभी मनोकामनाएं पूरी करते हैं। आपको बता दें कि माघ महीने में ही गुप्त नवरात्रि पड़ रही है। जिस प्रकार से चैत्र नवरात्रि और दशहरे से पहले शारदीय नवरात्रि आती है, उसी तरह गुप्त नवरात्रि भी माघ मास के शुक्ल पक्ष में पहली और दूसरी आषाढ़ मास के शुक्ल पक्ष में आती है।

माघ मास वाली गुप्त नवरात्रि इस साल 12 फरवरी 2021 से शुरू होने वाली है जो 9 दिन के बाद यानी 21 फरवरी दिन रविवार को समाप्त हो जाएगी। ऐसा बताया जाता है कि इस साल गुप्त नवरात्रि कई मायनों में बेहद खास है क्योंकि इस बार विशेष संयोग बन रहे हैं। नवरात्रि के दिनों में मां दुर्गा के नौ रूपों की 9 दिन अलग-अलग विशेष रूप से पूजा की जाती है।

शास्त्रों के अनुसार गुप्त नवरात्रि को तंत्र-मंत्र की सिद्धि के लिए बेहद खास माना गया है। अगर आप गुप्त नवरात्रि में विशेष पूजा करते हैं तो इससे आपके जीवन के कई दु:ख दूर होंगे। ऐसी मान्यता है कि तांत्रिक गुप्त नवरात्रि में महाविद्याओं की सिद्ध करने के लिए मां दुर्गा की उपासना करते हैं। ज्योतिष शास्त्र में गुप्त नवरात्रि को लेकर कई उपाय और मंत्र बताए गए हैं जिसकी सहायता से व्यक्ति मनवांछित फल प्राप्त कर सकता है।

घट स्थापना शुभ मुहूर्त

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार इस बार 12 फरवरी 2021 से गुप्त नवरात्रि शुरू हो रही है। प्रतिपदा तिथि आरंभ 11 फरवरी 2021 की रात्रि 12:34 से है और प्रतिपदा तिथि समाप्ति 12 फरवरी 2021 दिन शुक्रवार की रात्रि 2:39 तक है। कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त सुबह 8:34 से लेकर 9:59 तक रहने वाला है और दोपहर 12:13 से लेकर 12:18 तक कलश स्थापना कर सकते हैं। साधक को सात्विक आहार और ब्रह्मचर्य का पालन करना बहुत ही जरूरी है। अर्धरात्रि में 10 महाविद्याओं की पूजा करें, इससे आपको जीवन में सुखद परिणाम हासिल होंगे।

गुप्त नवरात्रि में इन देवियों की करें पूजा

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार कुल 4 प्रकार के नवरात्रि के बारे में उल्लेख किया गया है। पहली चैत्र नवरात्रि, दूसरी आषाढ़ नवरात्रि, तीसरी शरद नवरात्रि और चौथी माघ नवरात्रि। इनमें से आषाढ़ और माघ की नवरात्रि को गुप्त नवरात्रि के नाम से जाना जाता है। गुप्त नवरात्रि में की गई पूजा और व्रत को अधिक प्रभावशाली बनाने के लिए गुप्त रखा जाता है। गुप्त नवरात्रि में मां कालिके, तारा देवी, त्रिपुर सुंदरी, भुवनेश्वरी, माता चित्रमस्ता, त्रिपुर भैरवी, मां धूम्रवती, माता बगलामुखी, मातंगी, कमला देवी की पूजा अर्चना की जाती है।

मनोवांछित फल पाने के लिए इस मंत्र का करें जाप

अगर आप माघ मास की गुप्त नवरात्रि में माता की आराधना करके अपनी मनोकामना को पूरा करना चाहते हैं तो एक विशेष मंत्र का जाप कर सकते हैं। आपको बता दें कि माता दुर्गा की पूजा के लिए दुर्गा मां की प्रतिमा स्थापित करने के पश्चात लाल रंग का सिंदूर और सुनहरे गोटे वाली चुनरी अर्पित की जाती है और पूजा के दौरान माता रानी को पानी वाला नारियल, केले, सेब, खील, बताशे और श्रृंगार का सामान अर्पित किया जाता है। मनोवांछित फल प्राप्ति के लिए आप गुप्त नवरात्रि में सरसों के तेल से दिया जलाकर मंत्र “ॐ दुं दुर्गायै नमः” का जाप करें।

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