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दशरथ के किरदार में इतना डूब गया शख्स, पुत्र वियोग में राम-राम चिल्लाते हुए मंच पर ही तोडा दिया दम

राम-राम कहकर त्याग दिए दशरथ ने प्राण, लोग अभिनय समझकर बजाते रहे तालियां

कहानी ख़त्म हुई और ऐसी खत्म हुई कि पर्दा गिरने के बाद लोग रो दिए तालियां बजाते बजाते…ये लाइन एकदम सटीक बैठ रही है बिजनौर जिले के हसनपुर गांव में चल रही रामलीला के दौरान घटी घटना पर। जी हां.. यहां रामलीला के मंच पर श्री राम के वनवास जाने के बाद पुत्र वियोग का मंचन चल रहा था। ऐसे में दशरथ का किरदार निभा रहे राजेंद्र कश्यप अपने किरदार में इतने डूब गए कि उन्होंने अभिनय के दौरान राम-राम चिल्लाते हुए दम तोड़ दिया।

rajendra kashyap

इस दौरान सैकड़ों लोग उनके अभिनय को देखकर भाव विभोर हो उठे। किसी को इस बात का अंदाजा नहीं था कि ये अभिनय नहीं है बल्कि सच में किरदार निभा रहे कलाकार की मौत हो चुकी है, लेकिन लोग शानदार अभिनय समझकर लगातार तालियां बजाते रहे। जब काफी देर तक राजेंद्र कश्यप नहीं उठे तो साथियों ने पर्दा गिराया और दशरथ बने राजेंद्र को सभी ने उठाने की कोशिश की लेकिन तब तक उनके शरीर से प्राण जा चुके थे। जब दर्शकों को इस बात का पता चला तो घड़ी भर में खुशियां दुख में बदल गई और रामलीला के मंचन को भी रोक दिया गया।

rajendra kashyap

रामलीला समिति के अध्यक्ष संजय सिंह गांधी के मुताबिक, 62 वर्षीय राजेंद्र कश्यप करीब 20 साल से रामलीला में अभिनय करते आ रहे हैं। इतना ही नहीं बल्कि वह हर साल दशरथ का ही किरदार निभाते हैं और उनके किरदार को लोग खूब पसंद करते हैं। हर साल की तरह इस साल भी सप्तमी से दशहरा तक रामायण का मंचन किया गया जिसमें राजेंद्र कश्यप दशरथ बने थे।

बीते गुरुवार को रामलीला के मंच पर श्री राम के वनवास जाने का मंचन चल रहा था। ऐसे में दशरथ का किरदार निभा रहे राजेंद्र कश्यप ने पुत्र वियोग में राम-राम चिल्लाते हुए जमीन पर गिर पड़े और काफी देर तक उठे ही नहीं। सभी को यही लग रहा था कि वह अपने अभिनय में बहुत डूब गए हैं और हर कोई उनके अभिनय को देख लगातार तालियां बजाते रहे।

ramlila

संजय सिंह ने बताया कि, चाचा राजेंद्र कश्यप बचपन से ही अभिनय का शौक रखते थे। उनकी दमदार आवाज और अभिनय को लोग खूब पसंद करते थे। आसपास के गांव के लोग भी उनका अभिनय देखने आते थे। जब रामलीला मंचन पर दशरथ को सुमंत ने कहा कि वह श्री राम को वन दिखाकर वापस ले आएंगे।

लेकिन जब सुमन श्री राम, सीता और लक्ष्मण के बिना ही घर लौट आए तो दशरथ से पुत्र के दूर होने की पीड़ा सही नहीं गई और दो बार राम-राम कहते हुए वह नीचे गिर पड़े। वहीं लोगों की तालियों की गड़गड़ाहट से पूरा मंच गूंज उठा लेकिन जब दशरथ का किरदार निभा रहे राजेंद्र कश्यप नहीं उठे तो पर्दा गिरा दिया गया और फिर सभी कलाकारों ने उन्हें उठाने की कोशिश की जिसके बाद पता चला कि हार्ट अटैक के कारण उनका निधन हो गया है।

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जब राजेंद्र कश्यप के घर वालों को इस बात का पता चला तो उन्हें गहरा झटका लगा। कहा जा रहा है कि, राजेंद्र की पत्नी का रो रोकर बुरा हाल है। उनके 3 पुत्र और दो पुत्री भी है। राजेंद्र कश्यप का एक बेटा बीएसएफ में तैनात है जिसका अभी इंतजार किया जा रहा है। छोटे बेटे के आने के बाद ही राजेंद्र कश्यप का अंतिम संस्कार किया जाएगा।

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